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Friday, October 16, 2015

नौकरी छोड़कर Amazon.com कंपनी बनाने वाले Jeff Bezos की प्रेरणादायक कहानी

दोस्तों आज में आपके साथ शेयर कर रहा हूँ Jeff Bezos की एक नौकरी छोड़कर amezon.com कंपनी बनाने  की कहानी ! जैफ़ बेज़ोस दुनिया की उन गिनी-चुनी हस्तियों में से एक हैं, जिन्होंने अपने करामाती कामों से लोगों के जीवन पर गहरा प्रभाव डाला। ऐमज़ाॅन.काॅम की स्थापना कर उन्होंने लोगों की खरीदारी का तरीका ही बदल दिया। आपको जो कुछ भी चाहिए, आॅनलाइन आदेश कीजिए और सामान आपके दरवाजे पर हाजिर, वह भी बाजार से सस्ती कीमत पर। हाँ, वही जैफ़ बेज़ोस, जिनका जन्म एक नाबालिग माँ की कोख से हुआ और अठारह माह की उम्र में ही जिनका पिता उन्हें बेसहारा छोड़कर चला गया। जिन्होंने सौतले पिता की छत्रछाया में पढ़ाई की, नाना के यहाँ रहकर टेक्नोलाॅजी सीखी और फिर आकर्षक नौकरी छोड़कर आॅनलाइन बिजनेस में कूद पड़े। अपने गैरेज से ऐमज़ाॅन.काॅम की स्थापना की और अपनी मेहनत के बल पर एक प्रमुख डाॅट काॅम उद्यमी तथा अरबपति बन गए। ऐमज़ाॅन.काॅम आज अमेरिका की ही नहीं, पूरे विश्व की सबसे बड़ी आॅनलाइन रिटेलर कंपनी है।इस पोस्ट में आप जानेगे की कैसे बेजोस ने कम्पनी शुरू करने के लिए कड़ी मेहनत की और कैसे Amazon.com कम्पनी को सफलता के शिखर पर पहुंचाया ! ये पोस्ट आपके लिए एक तरह से business tips भी साबित हो सकती है तो आइये जाने जेफ़ बेजोस के बारे में !







jeff bezos quotes in hindi
Jeff Bezos
         


Name Jeff Bezos / जेफ़ बेजोस 
Born
 January 12, 1964
 Albuquerque, New Mexico, U.S.
NationalityAmerican
FieldTechnology Entrepreneur And Investor
Occupationfounder And CEO of Amazon.com
 "हमारा लक्ष्य संसार की सबसे ग्राहक-केन्द्रित कम्पनी बनना है"                                                                                 -जेफ़ बेजोस 

  जेफ़ बेजोस के अनमोल विचार एवं सफलता के मन्त्र   

 JEFF BEZOS QUOTES AND SUCCESS TIPS IN HINDI  



दीर्घकालीन सोच रखे: jeff Bezos कहते है, " यदि आप दीर्घकाल के बारे में सोचे, तो जीवन सम्बन्धी अच्छे निर्णय ले सकते है, जिन पर आपको बाद में अफ़सोस नही होगा |' jeff Bezos ने हमेशा दीर्घकालन सोच और 'न्यूनतम पश्चाताप' की नीति का पालन किया है | कोई भी नया काम करते वक़्त बेजोस तात्कालिक नफे-नुकसान के बारे में नही सोचते है | वे दूरदर्शिता का इस्तेमाल करते है और लम्बे समय के बारे में सोचते है, भले ही निकट भविष्य में नुकसान हो जाये |

 जब jeff Bezos नौकरी छोड़कर अमेज़न सुरु करने के बारे में सोच रहे थे, तब उन्होंने 'न्यूनतम पश्चाताप' की नीति के आधार पर निर्णय लिया | उन्होंने सोचा की 80 साल की उम्र में उन्हें नौकरी छोड़ने का अफ़सोस नही होगा; लेकिन इस बात का अफ़सोस जरुर होगा की उन्होंने ऑनलाइन गोल्ड रश से फायदा नही उठाया | उन्होंने बाद में कहा, 'में जानता था की यदि में नाकाम हुआ, तो मुझे उसका अफ़सोस नही होगा, लेकिन में यह बात अच्छी तरह जानता था की कोशिश न करने का अफ़सोस हमेशा रहेगा |' इसलिए उन्होंने कोशिश कर दी... और सफलता के शिखर पर पहुंच गये ! 

वाचार (innovation) करे : नया काम करना सफल होने का सबसे आसान रास्ता है | jeff Bezos की सफलता का मूल मन्त्र यही है की उन्होंने पुस्तको की ऑनलाइन सेलिंग का नया काम शुरू किया | यही नही, इसके बाद भी वे नये काम करते गये | अपनी वेबसाइट Amazon.com पर उन्होंने कई नई विशेषताए जोड़ी, जैसे वन क्लिक शौपिंग, ग्राहक समीक्षा और ईमेल आर्डर वेरिफिकेशन | jeff Bezos से कहा था, 'विकास न करना खतरनाक होता है |' उन्होंने लगातार नवाचार(innovation) और विकास किया | Bezos अपने कर्मचारियों को नया काम करने के लिए प्रोत्साहित करते है | कई नये काम कारगर होते है,  तो कई असफल भी हो जाते है | जैसे 1999 में अमेज़न ओक्सन के माध्यम से नीलामी सेवा का विचार पूरी तरह असफल रहा, लेकिन Bezos कहते है, 'हम बहुत से अंधरे रास्तो पर आगे बढ़ते है और कभी - कभार हम ऐसी चीजे खोज लेते है, जो सचमुच काम करती है |' किन्डल रीडर के माध्यम से E books की बिक्री Jeff Bezos का एक ऐसा नवाचार है, जिसने पुस्तक उधोग में क्रांति कर दी और अमेज़न को शिखर पर पहुंचा दिया | 


Photo Courtesy- Google Image 
 कम मार्जिन और ज्यादा वॉल्यूम की नीति पर चले: मार्जिन यानी मुनाफा | 10 रूपये की लागत के सामान को अगर आप 11 रूपये में बेचते है, तो मार्जिन कम है | अगर आप उसे 15 रूपये में बेचते है, तो मार्जिन ज्यादा है | अधिकांश सफल कम्पनियां कम मार्जिन और ज्यादा वॉल्यूम की नीति पर चलती है | अमेज़न की नीति भी यही है | Jeff Bezos का मानना है की ज्यादा मार्जिन में आदमी आलसी बन जाता है | कम मार्जिन पर सफल होने के लिए आपको मशक्कत करनी पड़ती है, कार्यकुशल बनना पड़ता है | अमेज़न ने लागत कम करने और कार्यकुशलता बढाने पर धयान केन्द्रित किया, ताकि ग्राहकों को कम कीमत में सामान मिल सके | इस नीति से फायदा ये होता है की अधिक ग्राहक आकर्षित होते है, ग्राहक बार बार सामान खरीदते है, मौखिक प्रचार होता है और कम्पनी की अच्छी छवि बनती है | कम मार्जिन की नीति की बदौलत ही अमेज़न ने इतना बड़ा कारोबार खड़ा किया है | शुरुआत में Jeff Bezos ने जो business plan बनाया, उसमे उन्होंने भविष्यवाणी की थी की पांच साल तक कंपनी को मुनाफा नही होगा | वाकई कंपनी को पहला मुनाफा 2001 में ही हुआ | Jeff Bezos ने इस बात को बड़े दिलचस्प अंदाज़ में व्यक्त किया है, 'हम मुनाफे में है या नही, ये हमारे ग्राहकों की समस्या नही है | हम अपनी अक्षमता के लिए अपने ग्राहकों की जेब नही काटेंगे |'  


ग्राहक की सेवा पर ध्यान केन्द्रित करे: कारोबार में कहा जाता है, 'ग्राहक पहले नंबर पर आता है|' लेकिन अधिकतर कम्पनियों के काम इसके विपरीत होते है | अमेज़न ने ग्राहक की सेवा को सर्वोपरी माना है| Bezos मानते है की ग्राहक से महत्वपूर्ण कुछ नही है | इसलिए वे कम मार्जिन की नीति पर चले, क्युकी अधिक मार्जिन से ग्राहक असंतुष्ट महसूस करते है | Bezos की नज़र में ग्राहक सेवा ही अमेज़न की सफलता का सबसे बड़ा कारन है, 'यदि कोई एक कारन है, जिसकी बदौलत हमने पिछले छह सालो में इन्टरनेट पर हमारे साथियों से बेहतर प्रदर्शन किया है, तो वह यही है की हमने लेजर की तरह ग्राहक अनुभव पर ध्यान केन्द्रित किया है |' उन्होंने अमेजन पर बिकने वाले सामान की संख्या भी इसलिए बढाई, ताकि ग्राहकों की ज्यादा से ज्यादा सेवा कर सके | उन्होंने कहा है,  ' Amazon E-commerce की वह मंजिल बनना चाहती है, जहाँ ग्राहकों को हर चीज वह चीज मिल जाये, जो वे ऑनलाइन खरीदना चाहते है |

Must Read>> कैसे बढ़ाये अपने आत्मविश्वास को ( How to Improve self confidence in Hindi )


मौखिक प्रचार पर ध्यान केन्द्रित करे: जब bezos ने amazon शुरू किया, तब उनके पास marketing budget नही था, इसलिए advertisement देने का कोई प्रश्न भी नही था | बाद में उन्होंने सोचा की सबसे अच्छा advertisement यही है की customer अपने Friends and relevant के सामने उनकी प्रशंसा करे | वे यह बात अच्छी तरह जानते थे की उनकी केवल ग्राहकों के मौखिक प्रचार से ही सफल हो सकती थी उन्होंने कहा है, ' यदि आप बेहतरीन अनुभव प्रदान करते है, तो ग्राहक एक दुसरे को इसके बारे में जरुर बताते है | मौखिक प्रचार बहुत शक्तिशाली होता है |' इसलिए bezos ने अपने products  और service को इतना उत्क्रष्ट बनाया की ग्राहक इसकी प्रशंशा और मौखिक प्रचार करे |

जेफ़ बेजोस के बारे में :

संसार के सबसे अमीर व्यक्तियों में शामिल  : amazon की सफलता के मन्त्र क्या है ? आखिर इसके संस्थापक जेफ़ बेजोस ने ऐसा क्या किया की amazon world में सबसे बड़ी ऑनलाइन रिटेल कम्पनी बन गई ? उन्हें eCommerce का पितामह क्यों माना जाता है और उन्होंने amazon को इन्टरनेट सेल्स के मोडल के रूप में कैसे विकसित किया ? ऐसा क्या हुआ की 3 कर्मचारियों से शुरू हुई कम्पनी में आज लगभग 200000 कर्मचारी काम करते है ? वे कौन से मन्त्र थे, जिन्हें पढ़कर वे संसार के सबसे अमीर व्यक्तियों की लिस्ट में आ गये ?

बचपन के सबक : पूत के पांव पालने में दिख जाते है, यह कहावत बेजोस के जीवन पर पूरी तरह चरितार्थ होती है है, क्युकी बचपन में बेजोस एक स्क्रुड्रायवर लेकर अपना पालना खोलने की कोशिश करते थे | जब वे थोड़े बड़े हुए, तो बिजली के उपकरणों में रूचि लेने लगे | उनके भाई कमरे में बगैर जानकारी के न घुसे, इसके लिए उन्होंने एक इलेक्ट्रिक अलार्म बनाया | जब वे चौथी कक्षा में थे, तो उनके स्कूल में मेनफ्रेम कंप्यूटर आया | बेजोस भला यह अवसर कैसे छोड़ देते , चूँकि किसी टीचर को कंप्यूटर चलाना नही आता था, इसलिए बेजोस और उनके साथियों ने मैन्युअल पढ-पढ़कर उसे चलाना सिखा | तब कौन जानता था की आगे चलकर वे कंप्यूटर पर ऑनलाइन रिटेल की क्रांति शुरू करने वाले है | 


कंपनी की स्थापना : जेफ़ बेजोस ने जुलाई 1994 में अपनी कंपनी की स्थापना की और 1995 में इसकी शुरू की | बेजोस पहले तो इसका नाम केडेब्रा डॉट कॉम चाहते थे, लेकिन तीन महीने बाद उन्होंने इसका नाम बदलकर अमेज़न डॉट कॉम कर दिया | उन्होंने संसार की सबसे बड़ी नदी अमेज़न का नाम इसलिए चुना, क्युकी वे worlds biggest online bookseller बनना चाहते थे उनकी वेबसाइट ऑनलाइन बुकस्टोर के रूप में शुरू हुई, लेकिन बाद में यहाँ डीवीडी, सॉफ्टवेर,इलेक्ट्रॉनिक्स,कपडे इत्यादि भी बिकने लगे | अमेज़न कम्पनी गेरेज में शुरू हुई थी और वह भी केवल तीन कंप्यूटर से | ऑनलाइन बिक्री का सॉफ्टवेयर खुद बेजोस ने बनाया था और तीन लाख डोलर की शुरूआती पूंजी उनके माता-पिता ने लगायी | कम्पनी की स्थापना के वक़्त उनके पिता ने उनसे पहला सवाल यह पूछा था, 'इन्टरनेट क्या होता है ?' उनकी माँ ने बाद में कहा, 'हम इन्टरनेट पर दांव नही लगा रहे थे हम तो जेफ़ पर दांव लगा रहे थे |' माता-पिता का यह विश्वास शत-प्रतिशत सही साबित हुआ और अमेज़न के 6 प्रतिशत शेयर्स के मालिक होने के कारन सन 2000 में माता-पिता अरबपति बन गये |


शुरूआती संघर्ष : 16 जुलाई 1995 को जेफ़ बेजोस ने अपनी वेबसाइट पर पुस्तके बेचना शुरू कर दिया | पहले ही महीने अमेज़न ने अमेरिका के 50 राज्यों और 45 अन्य देशो में पुस्तके बेच डाली, लेकिन ये काम आशन नही था | जमीं पर घुटनों के बल बैठकर पुस्तको को पैक करना पड़ता था और पार्शल देने के लिए खुद भी जाना पड़ता था | पुस्तक की पैकिंग करते समय एक दिन जेफ़ बेजोस ने अपने साथी से पुछा, 'तुम्हे पता है हमे इस काम को आसान बनाने के लिए क्या करना चाहिए ? ' साथी ने जवाब दिया, 'हाँ घुटनों के निचे तकिया रख लेना चाहिए |' जेफ़ बेजोस हंस पड़े और अगले ही दिन उन्होंने कुछ टेबल खरीद ली, ताकि उनपर किताबो की पैकिंग की जा सके | बेजोस की मेहनत रंग लायी और सितम्बर तक हर सप्ताह 20000 डोलर की बिक्री होने लगी | 

Net Banking का युग प्रारम्भ किया : Jeff bezos ने amazon.com website शुरू करके इतिहास रच दिया | उन्होंने हमे इन्टरनेट के माध्यम से घर बैठे मनचाही पुस्तकें खरीदने की सुविधा दी | उन्होंने इन्टरनेट क्रांति की  Beginning करते हुए online selling and net banking का युग शुरू किया | उन्होंने अपनी कड़ी मेहनत और Vision से एक ऐसा ब्रांड बनाया, जिसका Revenue  US$ 88.988 billion (2014)  है और दुनियाभर में 183,100 से ज्यादा कर्मचारी काम करते है (जुलाई 2015 तक के आंकड़े) |
Jeff bezos motivational quotes in Hindi
Jeff Bezos Launching Kindle Reader in 2007
महत्वपूर्ण मोड़ : 2007 तक अमेज़न डॉट कॉम ऑनलाइन बिक्री का स्थापित ब्रांड बन चुकी थी, लेकिन कम्पनी के इतिहास में महत्वपूर्ण नवम्बर 2007 में आया, जब अमेज़न ने अमेज़न किन्डल नाम ई-बुक रीडर बाजार में उतारा, जिसके माध्यम से पुस्तक को तुरंत डाउनलोड करके पढ़ा जा सकता था | इससे कम्पनी को भुत लाभ हुआ | इससे एक तो किन्डल की बिक्री बढ़ी, दुसरे किन्डल फोर्मेट में पढ़ी जाने वाली पुस्तको की बिक्री भी बढ़ी | ग्राहकों के लिए ये बहुत सुविधाजनक था, क्युकी अब उने पुस्तक के आने का इन्तजार नही करना पड़ता था और मनचाही पुस्तक मिनटों में उनके पास आ जाती थी किन्डल की सफलता आशातित थी नवम्बर 2007 में उतरने के छह घंटो के भीतर ही किन्डल का सारा स्टॉक बिक गया और अगले पांच महीनो तक यह out of stock रहा | किन्डल रीडर की बदौलत अमेज़न ने अमेरिका के 95 प्रतिशत ई-बुक व्यवसाय पर कब्ज़ा कर लिया | किन्डल अमेज़न कंपनी के लिए बहुत फायदेमंद साबित हुआ, क्युकी इससे पुस्तको की शिपिंग की झंझट नाची, खर्च बचा, और स्थायी ग्राहक भी बन गये |

नायब विचार : कंप्यूटर साइंस के विशेषज्ञ जेफ़ बेजोस पढाई पूरी करके न्यूयॉर्क में फण्ड मेनेजर बन गये | अप्रेल 1994 में एक दिन नेट सर्फिंग के दौरान उन्हें पता चला की वेब का उपयोग करने वालो की संख्या हर साल 2300 प्रतिशत की दर से बढ़ रही है | पलक झपकते ही उनके मन में विचार आया, क्यों न ऑनलाइन बिज़नस शुरू किया जाये ? इस विचार को साकार करने के लिए उन्होंने अपनी अच्छी खासी नौकरी छोड़ दी | यकीनन यह बहुत बड़ा जोखिम था ! खास तौर पर तब, जब उनकी नई-नई शादी हुई थी | अब सवाल यह था की नेट पर बेचा क्या जाये ? घहरे विचार मंथन के बाद, अन्तत बेजोस ने पुस्तको को चुना... और बाकि इतहास है |

 Timeline


1964 :  Jeff bezos का जन्म हुआ |

1994 :  Jeff bezos ने amazon.com नामक company की स्थापना की | उन्होंने इसका नाम 'A" अक्षर से इसलिए रखा, ताकि internet search alphabetical order में यह जल्दी आये |

1995 : Amazon.com website शुरू हुई | 

1997 :  Amazon का IPO stock market में list हुआ |

1999 :  First international website शुरू हुई |

2001 :  कंपनी को पहली बार profit हुआ |

2007 : Amazon किंडल नामक e-book reader बाज़ार में आया |

2011 :  टेबलेट कंप्यूटर के क्षेत्र में प्रवेश

 दोस्तों आपको Amazon - Online Marketing Ka Badshah: Jeff Bezos Ki Adbhoot Den Book Recommend कर रहा हूँ इसको जरुर पढ़िए इस पुस्तक में पढि़ए आॅनलाइल मार्केटिंग के बेताज बादशाह जैफ़ बेज़ोस और उनकी दिग्गज कंपनी Amazon.com की रोचक और प्रेरक दास्तान सरल भाषा में ! 

                                                                      

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Friday, September 25, 2015

10 Motivational Quotes in Hindi

 दोस्तों आज में आपके साथ १० प्रेरणादायक उद्धरण ( 10 motivational quotes ) शेयर कर रहा हूँ पसंद आये तो अपने दोस्तों के साथ भी शेयर करे !                   

10 Motivational Quotes In Hindi 

Quote 1: A creative man is motivated by the desire to achieve, not by the desire to beat others. 

In Hindi: एक रचनात्मक व्यक्ति दुसरो के जितने की इच्छा से प्रेरित होता है ना की दुसरो को हराने की इच्छा से ।  
    Ayn Rand एयन रैण्ड
                                                                         

Quote 2: Always do your best. What you plant now, you will harvest later.

In Hindi::  हमेशा अपना सबसे बेहतरीन करो। जो आप अभी बोयेंगे, वहीँ आप बाद में काटेंगें।

   Og Mandino ओग मंडीनो

                                                                                                                                                  
Quote 3: In order to succeed, we must first believe that we can.
In Hindi:  अगर हमे सफल होना है तो हमे सबसे पहले ये विश्वास करना होगा की "हाँ में कर सकता हूँ" ।
  Nikos Kazantzakis निकोस कज़न्त्जाकिस
Quote 3: If you can dream it, you can do it.
In Hindi:  अगर आप यह सपना देख सकते हैं, तो आप यह कर भी सकते हैं।

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10 motivational Quotes in hindi
Walt Disney वाल्ट डिज्नी
Quote 4: The secret of getting ahead is getting started.
In Hindi:  आगे बढ़ने का रहस्य यही है की पहले आपको आरम्भ करना पड़ेगा। 
 Mark Twain मार्क ट्वेन

Quote 5: Believe in yourself! Have faith in your abilities! Without a humble but reasonable confidence in your own powers you cannot be successful or happy. 
In Hindi:  अपने आप पर यकीन रखो ! अपनी क्षमताओं पर भरोसा रखो ! अपनी शक्तियों में एक विनम्र लेकिन उचित आत्मविश्वास के बिना आप कभी सफल या खुश नहीं हो सकते ।

 Norman Vincent Peale नोमान विन्सेंट पीले
Quote 6. What you get by achieving your goals is not as important as what you become by achieving your goals.
In Hindi: आपको अपने लक्ष्यों के प्राप्त होने से क्या मिलता है ये इतना महत्वपूर्ण नही है जितना की आप अपने लक्ष्यों के प्राप्त होने से क्या बनते है । 
     Zig Ziglar ज़िग ज़िग्लर

Quote 7. A goal is a dream with a deadline.
In Hindi: एक लक्ष्य एक समय सीमा के साथ एक सपना है।
  Napoleon Hill नेपोलियन हिल

In Hindi: क्या आप जानना चाहते हो की कौन हो ? पूछिये मत ! कार्य कीजिये! आपका कार्य ही आपको चित्रित और परिभाषित करेगा । 
 Thomas Jefferson थॉमस जेफरसन

Quote 9. Perseverance is failing 19 times and succeeding the 20th.
In Hindi: दृढ़ता 19 बार असफल हो सकती है पर 20वीं बार जरूर सफल होती है । 
 Julie Andrews जूली एंड्रयूज

Quote 10. Change your life today. Don't gamble on the future, act now, without delay.
In Hindi: आज ही अपने जीवन में परिवर्तन लाइए क्युकी भविष्य जुआ नही है इसलिए अभी बिना देरी के अपने कार्य पर लग जाये । 
 Simone de Beauvoir सिमोन डी बेऔवोइर 

                                                                                                                          
निवेदन: कृपया अपने comment के माध्यम से बताएं कि आपको ये पोस्ट कैसा लगा ! धन्यवाद !!







Thursday, September 24, 2015

Professional Life में सफलता के 10 सूत्र

hi friends,  आज में आपके साथ professional life में सफलता के 10 सूत्र शेयर कर रहा हूँ पिछले पोस्ट में मेने आपके साथ Motivational Post : कैसे बढ़ाये अपने आत्मविश्वास को ( How to Improve self confidence in Hindi ) शेयर किया था उम्मीद करता हूँ की पोस्ट वो आपको पसंद आया होगा ।

कोई भी क्षेत्र में सफलता इस बात पर निर्भर करती है की आपका लक्ष्य क्या है ? आपका लक्ष्य पैसा कमाना है या सर्वश्रेष्ठ काम करना है ? यदि आपका लक्ष्य पैसा कमाना  है,तो आप कामचलाऊ effort करेंगे, नतीजा ये होगा की जल्द ही आप असफल हो जायेंगे । दूसरी और, यदि आपका लक्ष्य सर्वश्रेष्ठ बनना है, तो निश्चित रूप से आप सफल होंगे और पैसे भी कमाएंगे ।

                            Professional  Life में सफलता के 10 सूत्र 

दोस्तों प्रतिस्पर्धा (competition) के मौजूदा दौर में success हासिल करना आसान नही है  इसके लिए कड़ी मेहनत करना जरुरी है । मेहनत के साथ - साथ कुछ खास नुस्खो पर अमल किया जाये तो कामयाबी की राह आसान हो सकती है ।
10 formulas to success in professional life
10 tips to success in professional life 

आइये जानते है Professional Life में सफलता के 10 सूत्र कौन कौनसे है -

1.  कामयाबी के लिए सुने (Listen for success)  -  आपके पास एक मुंह और दो कान है । इसी अनुपात में इनका इस्तेमाल करे ।  ♦ बोलने के मुकाबले अधिक सुनने से आपको ज्यादा सिखने का मौका मिलेगा ।


2.  जुनून जरुरी है (Passion is important) - ♦ जुनून आपको अपने लक्ष्य तक पहुँचने के लिए जरुरी ईंधन मुहैया कराता है । इसके रहते कोई भी मुश्किल आपको पीछे लौटने के लिए विवस नही करती ।


3.  लोगो की पसंद बने (remained people's choice) - ♦ लोगो के पसंदीदा होने का मतलब है समर्थन और शक्ति हासिल करना । पर इसमें 100 फीसदी सही के चक्क्रर में पड़े तो गिरना पड़ सकता है इसलिए जरा संभलकर ।


4.  नेतृत्वकारी भूमिका (Leadership role) - ♦ आपको ऐसा होना चाहिए की लोग प्रेरणा और आत्मविश्वास से आपकी और देखे । विकल्प पेश करना और कठिन चीजो को भी आसानी से समझाने की क्षमता रखे ।


5.  पहचान स्पष्ट रखे (Keep clear identity) - ♦ एक अधिकारी के रूप में आप जैसे लोगो की लोगो की भर्ती करेंगे वैसे ही आपकी पहचान बनेगी । जितना बेहतर आप कर रहे है, उससे कहीं बेहतर लोगो को जोड़ने की कोशिश करे ।

6.  निष्पक्ष प्रबंधन (Fair Management) - ♦ अपने अधीनस्थो और समकक्षों से व्यवसाय की रणनीति व लक्ष्य के बारे में स्पष्ट बात करे । किसी व्यावसायिक मौके के बारे में विचार करते वक़्त बदलाव की सम्भावना पर जरूर गौर करे ।


7.  आत्म अनुशासन (Self-discipline) - ♦ हरेक लक्ष्य के लिए समयसीमा तय करे, नियमत रूप से मेहनत करे और समय पर आराम भी करे ।दुसरो के साथ वही व्यवहार करे जैसा आप अपने साथ किये जाने की उम्मीद करते है ।


8.  विनम्रता का लाभ (The advantage of humility) - ♦ कामयाबी अकेले अपनी चीज नही होती, इसमें हमेशा दुसरो की भूमिका होती है ऐसे में विनम्र व्यवहार जरुरी है क्युकी गुस्सैल को कोई भी पसंद नही करता ।


9. आजमाना सीखे (Learn to try) - ♦ बिना किस्मत आजमाए कामयाबी की बात करना ख्याली पुलाव पकाना है । किस्मत बनानी है तो अखाड़े में उतरना व खुद टिकाये रखना जरुरी है ।


10. सीमाये जाने (know limits)- ♦ एक आदमी सारे काम नही कर सकता, इसलिए अपनी क्षमता और सीमा को लेकर स्पष्ट रहे ।

दोस्तों हर व्यक्ति जीवन में success होने के लिए अनेक उपाय करता  है लेकिन सफलता तभी मिलेगी जब हम अपना 100 फीसदी देंगे ।

दोस्तों आपको हमारे पोस्ट कैसे लगते है अपनी प्रतिक्रिया निचे कमेंट बॉक्स में जरूर दे । थैंक्स !!








Tuesday, September 22, 2015

कैसे बढ़ाये अपने आत्मविश्वास को ( How to Improve self confidence in Hindi )

                                                                 
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Motivational Post : कैसे बढ़ाये अपने आत्मविश्वास को ( How to Improve self confidence in Hindi ) 

hi friends,

आज हम जानेगे की किसी भी कार्य को करने के लिए अपने आत्म विश्वास को बढ़ाना कितना जरुरी है ये हम सभी जानते है की बिना आत्मविश्वास कोई भी व्यक्ति सफल नही हो सकता । और सफलता का पैमाना अपने आत्मविश्वास से ही होके गुजरता है ।

यदि दलदली जमीन में खूंटा गाड़ा जाये तो वह कुछ समय तक तो खड़ा रहेगा, लेकिन बहुत जल्दी ही झुककर अंत में गिर जायेगा । दलदल में खूंटा गाड़ना तो आसान है, लेकिन उसे खड़ा रखना आसान नही है, जबकि ठीक इसके विपरीत ठोस जमीन में खूंटा गाड़ने के लिए मेहनत तो करनी पड़ेगी । गड्डा खोदना पड़ेगा और तब कहीं जाकर खूंटा गड़ेगा, लेकिन यदि एक बार गड़ गया, तो वह सेंकडो सालो तक उसी तरह खड़ा रहेगा, जैसा की आपने खड़ा किया था । 

आत्मविश्वास एक प्रकार से ठोस जमीन की तरह हैं, जिसमे हम अपने ज्ञान का खूंटा गाड़ते हैं। आत्मविश्वास का अर्थ अपनी आत्मा पर विश्वास करना नही हैं, बल्कि अपने आप पर विश्वास करना है । यहाँ "आत्म" शब्द का अर्थ "में" से है "आत्मा" से नहीं । जब हमारे अंदर आत्मविश्वास की ठोस जमीन तैयार हो जाती हो जाती है, तब हम जो कुछ भी सुनते है, पढ़ते है या कोई भी कार्य करते है उस पर हमारी पकड़ काफी मजबूत होती चली जाती है । इसके ठीक विपरीत यदि हम अंदर से डरे हुए हैं, हम हमेशा भूल जाने की आशंका से ग्रसित हैं, अपने को अंदर से कमजोर महसूस कर रहे हैं, तब इसका अर्थ ये हुआ की हमारे अंदर की जमीन दलदली है।  ऐसे दलदल में खूंटा मजबूती से नही गड़ेगा ।

ये भी पढ़े: जिंदगी में सफल होना है तो अपनाइये इन सात आदतो को

अपने आप पर विश्वास करना सीखिये की "हाँ में ये कर सकता हूँ", क्योंकि अपने आप पर विश्वास एक प्रकार की शक्ति होती है , ऊर्जा होती है । आपने महसूस किया होगा की जब आप विश्वास से भरे होते हैं, तब आपकी चाल बदल जाती है । आपके पैर अधिक मजबूती से उठते हैं और अधिक मजबूती से जमीन पर पड़ते है । ठीक इसी तरह जब आपमें आत्मविश्वास होता है, तब आपका मस्तिष्क भी पूरी तरह सतर्क और जागरूक हो जाता है । उसके पटल (screen) पर पड़ने वाली चीजो के बिम्ब बहुत गहरे और सपष्ट बनते है । यदि मन में यह भय रहेगा की " मुझे बात समझ में नही आ रही है", तो पक्का जानिए की वह बात समझ में नही आएगी । हो सकता है की आपको बात समझ में नही आ रही है । यदि ऐसा है तो आप खुद को सरेंडर मत कीजिये । परेशान न होइए की बात समझ में नही आ रही है, बल्कि अपने अंदर कुछ इस तरह की भावना लाइए की "मुझे इसे समझना है । मैं जानकर रहूँगा इसे ।" जैसे ही आप यह भावना लाएंगे, पाएंगे की आपका मन एक अलग ही तरह के जोश से भर गया है और जैसे ही यह होगा, आपका लक्ष्य सार्थक होने लगेगा ।

इसलिये हमेशा याद रखिये की जब भी कोई कार्य करे अपने आत्मविश्वास का दीपक जलाकर उस कार्य को करे । आत्मविश्वास की इसी रोशनी में अपने लक्ष्यों को अधिक चमक के साथ जिंदगी के पटल पर सफल हो सकेंगे । 

Thanks 

Sunday, September 20, 2015

Thought of the day in hindi : वक्त की नजाकत

thought of the day in hindi

 Thought of the day in hindi
अगर मेंढक को गर्मा गर्म उबलते पानी में डाल दें तो वो छलांग लगा कर बाहर आ जाएगा और उसी मेंढक को अगर सामान्य तापमान पर पानी से भरे बर्तन में रख दें और पानी धीरे धीरे गरम करने लगें तो क्या होगा ?
क्या मेंढक फौरन मर जाएगा ?
जी नहीं.... ऐसा बहुत देर के बाद होगा... दरअसल होता ये है कि जैसे जैसे पानी का तापमान बढता है, मेढक उस तापमान के हिसाब से अपने शरीर को उसके अनुकूल करने लगता है।
पानी का तापमान, खौलने लायक पहुंचने तक, वो ऐसा ही करता रहता है। अपनी पूरी उर्जा वो पानी के तापमान से तालमेल बनाने में खर्च करता रहता है। लेकिन जब पानी खौलने को होता है और वो अपने उच्चतम ताप तक पहुंच जाता है, तब मेढक अपने शरीर को उसके अनुसार समायोजित नहीं कर पाता है, और अब वो पानी से बाहर आने के लिए, छलांग लगाने की कोशिश करता है।
लेकिन अब ये मुमकिन नहीं है। क्योंकि अपनी छलाँग लगाने की क्षमता के बावजूद , मेंढक ने अपनी सारी ऊर्जा वातावरण के साथ खुद को उसके अनुरूप करने में खर्च कर दी है। अब पानी से बाहर आने के लिए छलांग लगाने की शक्ति, उस में बची ही नहीं I वो पानी से बाहर नहीं आ पायेगा, और मारा जायेगा I इस बारे में जरा ठीक से गौर फरमाये की --
* मेढक क्यों मर जाएगा ? * कौन मारता है उसको ?
* पानी का तापमान या गरमी ? या * उसका स्वभाव ?
मेढक को मार देती है, उसकी असमर्थता सही वक्त पर ही फैसला न लेने की अयोग्यता । यह तय करने की उसकी अक्षमता कि कब पानी से बाहर आने के लिये छलांग लगा देनी है।
इसी तरह हम भी अपने वातावरण और लोगो के साथ सामंजस्य बनाए रखने की तब तक कोशिश करते हैं, जब तक की छलांग लगा सकने कि हमारी सारी ताकत खत्म नहीं हो जाती ।
लोग हमारे तालमेल बनाए रखने की काबिलियत को कमजोरी समझ लेते हैं। वो इसे हमारी आदत और स्वभाव समझते हैं। उन्हें ये भरोसा होता है कि वो कुछ भी करें, हम तो सामंजस्य कर ही लेंगे और वो तापमान बढ़ाते जाते हैं।
हमारे सारे इंसानी रिश्ते, राजनीतिक और सामाजिक भी, ऐसे ही होते हैं, पानी, तापमान और मेंढक जैसे। ये तय हमे ही करना होता है कि हम जल मे मरें या सही वक्त पर बाहर कूद निकलें।

सार :-- विचार करें, गलत-गलत होता है, सही-सही, गलत सहने की सामंजस्यता ही हमारी मौलिकता को ख़त्म कर देती है इसलिए न गलत सहे न गलत करे और जब ऐसा कोई मौका आ जाये तो तुरंत सोच विचार कर सही फैसला ले और वहाँ से अपने आप को अलग कर ले अर्थात उस पानी के मेंढक की तरह न करे वरन कूद कर बाहर आ जाये ।

Saturday, September 19, 2015

Business में Success होना है तो याद रखिये ये 4 सबक

tips to success in business
4 tips to success in business

World की कुछ जानी-मानी companies के CEO's दे रहे हैं कुछ बेहद ज़रूरी tips जो हमें भी अपना Business सफल बनाने में मदद कर सकती हैं। आइये देखते हैं इन्हे :

टाइम को करें मैनेज :

स्टारबक्स के चेयरमैन और सीईओ हावर्ड डी शुल्ज़ समय के पाबन्द हैं और अपनी टीम से भी यही अपेक्षा रखते है की समय का पूरा ख़याल रखा जाए | वह कहते है कि  समय को मैनेज करना एक कला है ज्यादातर लोग इसे नजरंदाज कर  देते हैं  जबकि जो  सफल लोग होते है वह कभी भी समय न होने का बहाना नहीं बनातें है | क्यूंकि अगर आप समय पर काम पूरा करने के लिए एक योजना बनातें है तो आप कभी भी असफल या विफल नही होंगे | इसका सीधा सीधा तात्पर्य पहले से तैयारी करने से है यदि आप किसी कार्य के लिए पहले से तैयारी करते है तो आपके सफल होने के चांस और बढ़ जाते है और इससे आपको सफल होने का एक मार्ग मिल जाता है |

पैसे को समझें :



बिजनेसमैन और इन्वेस्टर मार्क क्यूबन कहते हैं  कि  अगर आपको पता नही है कि पैसा कैसे काम करता है तो आप पैसा नही कमा सकते आज इन्टरनेट पर ऐसी कई साईटस हैं , जहाँ आप फाइनेंसियल जगत की गतिविधियों को समझ सकते है | आपको पता होना चाहिए कि  दुनियाभर के लोग कैसे पैसा कमा रहे हैं  | इससे आप खुद के लिए एक बेस तैयार कर पाते है| अगर आप खुद का बिजनेस शुरू करना चाहते है तो आपको समझना जरूरी है कि दुनिया में किस तरह से पैसा बढ़ रहा है  | यह आपको अपना काम एक अच्छे ढंग से करने में काफी मदद कर सकता है क्यूंकि यदि आपको पैसे की समझ ही नही तो आप कैसे जानेंगे कि आप क्या कैसे करेंगे और आपका भविष्य का प्लान क्या होगा | क्यूंकि यह सब पैसे पर निर्भर करता है तो इसलिए आपको इसे समझना बेहद जरूरी है |

बिजनेस में रिस्क लें :



स्पेसएक्स के संस्थापक एलान मॉस्क कहते हैं  कि चाहे आपको पहले से पता हो की सफलता नही मिलेगी तो भी  आप रुकिए नही बल्कि प्रयास करिए जब आप प्रयास करते है तो काम की बारीकियों को सीखने लगते है और अगर आपका आधार  मजबूत है, तो आप  जरूर सफल होंगे इसका सीधा-सीधा कारण यह है कि  जब आप प्रयास करेंगे तो आप चीजों को अच्छे तरीके से जानेंगे और अच्छी तरह से समझ पायेंगे जो की आपकी सफलता में  काफी सहायक होगी ।

सेल्फ मोटिवेशन जरूरी :



याहू! की सीईओ मारिसा मेयर कहती हैं कि  दुनिया मैं दो तरह की  प्रेरणा है – : अंदरूनी और बाहरी। अगर बाहरी प्रेरणा न मिले तो अंदरूनी प्रेरणा को कायम जरूर रखे | मारिसा कहती हैं कि जब आप अपने लक्ष्यों को ध्यान में रखकर असल दुनिया की अपेक्षाओं के साथ तालमेल बैठते हैं तो आप दोगुनी गति से सफल होते है और यही आपको सफल बनाने में काफी मददगार होगा |




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Post Courtesy -  AchchiKhabar


Tuesday, September 15, 2015

Success Tips in Hindi: जिंदगी में सफल होना है तो अपनाइये इन सात आदतो को

Must Read : How to get success in life in hindi

How to get success in life in hindi
दोस्तों आज में आपके साथ ऐसा पोस्ट शेयर कर रहा हूँ जो आपकी जिंदगी बदल सकता है अगर आप इस पोस्ट के हर पॉइंट्स को ध्यान से पढेंगे और उसे अपनी जिन्दगी में अपनाओगे तो निश्चित रूप से आप कोई भी लक्ष्य को पूरा करने में सफल होंगे | ये पोस्ट स्टेफन कवे की लिखी किताब The 7 Habits of Highly Effective People का हिंदी translation है और शायद आपको पता होगा की स्टेफन कवे की ये किताब दुनिया में सबसे ज्यादा पसंद और खरीदी जाने वाली किताबो में से एक है में इस पूरी किताब का सार आपके साथ शेयर कर रहा हूँ !

दोस्तों ये पोस्ट पढकर यदि आपको लगता है कि वाकई करोड़ों लोगों की तरह आप भी इससे लाभान्वित हो सकते हैं तो बिना किसी झिझक के इस book को ज़रूर खरीदें.
                                                        
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जिंदगी में सफल होना है तो अपनाइये इन सात आदतो को

आप अच्छा feel करें , ऐसा अपने आप नहीं होता. एक balanced life जीने काअर्थ है खुद को renew करने के लिए ज़रूरी वक़्त निकालना.ये सब आपके ऊपरहै .आप खुद को आराम करके renew कर सकते हैं. या हर काम अत्यधिक करके खुद को जला सकते हैं . आप खुद को mentally और spiritually प्यार कर सकते हैं , या फिर अपने well-being से बेखबर यूँ ही अपनी ज़िन्दगी बिता सकते हैं.आप अपने अन्दर जीवंत उर्जा का अनुभव कर सकते हैं या फिर टाल-मटोल कर अच्छे स्वास्थ्य और व्यायाम के फायदों को खो सकते हैं.

आप खुद को पुनर्जीवित कर सकते हैं और एक नए दिन का स्वागत शांति और सद्भावके साथ कर सकते हैं.या फिर आप उदासी के साथ उठकर दिन को गुजरते देख सकतेहैं. बस इतना याद रखिये कि हर दिन आपको खुद को renew करने का एक नया अवसरदेता है, अवसर देता है खुद को recharge करने का. बस ज़रुरत है Desire (इच्छा),Knowledge( ज्ञान)और Skills(कौशल) की.

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Note: It was a summary of “The Seven Habits of Highly Effective People”in Hindi. Please read the complete book to benefit more.
Note: हिंदी में अनुवाद करने में सावधानी बरतने के बावजूद कुछ त्रुटियाँ हो सकती हैं. कृपया क्षमा करें.

निवेदन : कृपया अपने comments के through बताएं की Stephen R Covey की लिखी book “The Seven Habits of Highly Effective People” की summary Hindi में आपको कैसी लगी.

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आपकी ज़िन्दगी बस यूँ ही नहीं घट जाती. चाहे आप जानते हों या नहीं , ये आप ही के द्वारा डिजाईन की जाती है. आखिरकार आप ही अपने विकल्प चुनते हैं. आप खुशियाँ चुनते हैं . आप दुःख चुनते हैं.आप निश्चितता चुनते हैं. आप अपनी अनिश्चितता चुनते हैं.आप अपनी सफलता चुनते हैं. आप अपनी असफलता चुनते हैं.आप साहस चुनते हैं.आप डर चुनते हैं.इतना याद रखिये कि हर एक क्षण, हर एक परिस्थिति आपको एक नया विकल्प देती है.और ऐसे में आपके पास हमेशा ये opportunity होती है कि आप चीजों को अलग तेरीके से करें और अपने लिए और positive result produce  करें.

Habit 1 : Be Proactive / प्रोएक्टिव बनिए
Proactive  होने का मतलब है कि अपनी life के लिए खुद ज़िम्मेदार बनना. आप हर चीज के लिए अपने parents  या  grandparents  को नही blame कर सकते . Proactive  लोग इस बात को समझते हैं कि वो “response-able” हैं . वो अपने आचरण के लिए जेनेटिक्स , परिस्थितियों, या परिवेष को दोष नहीं देते हैं.उन्हें पता होताहै कि वो अपना व्यवहार खुद चुनते हैं. वहीँ दूसरी तरफ जो लोग reactive  होते हैं वो ज्यादातर अपने भौतिक वातावरण से प्रभावितहोते हैं. वो अपने behaviour  के लिए बाहरी चीजों को दोष देते हैं. अगर मौसम अच्छा है, तोउन्हें अच्छा लगता है.और अगर नहीं है तो यह उनके attitude और  performance  को प्रभावित करता है, और वो मौसम को दोष देते हैं. सभी बाहरी ताकतें एक उत्तेजना  की तरह काम करती हैं , जिन पर हम react करते हैं. इसी उत्तेजना और आप उसपर जो प्रतिक्रिया करते हैं के बीच में आपकी सबसे बड़ी ताकत छिपी होती है- और वो होती है इस बात कि स्वतंत्रता कि आप  अपनी प्रतिक्रिया का चयन स्वयम कर सकते हैं. एक बेहद महत्त्वपूर्ण चीज होती है कि आप इस बात का चुनाव कर सकते हैं कि आप क्या बोलते हैं.आप जो भाषा प्रयोग करते हैं वो इस बात को indicate  करती है कि आप खुद को कैसे देखते हैं.एक proactive व्यक्ति proactive भाषा का प्रयोग करता है.–मैं कर सकता हूँ, मैं करूँगा, etc. एक reactive  व्यक्ति reactive  भाषा का प्रयोग करता है- मैं नहीं कर सकता, काश अगर ऐसा होता , etc. Reactive  लोग  सोचते हैं कि वो जो कहते और करते हैं उसके लिए वो खुद जिम्मेदार नहीं हैं-उनके पास कोई विकल्प नहीं है.
ऐसी परिस्थितियां जिन पर बिलकुल भी नहीं या थोड़ा-बहुत control किया जा सकता है , उसपर react या चिंता करने के बजाये proactive  लोग अपना time  और  energy  ऐसी चीजों में लगाते हैं जिनको वो  control  कर सकें. हमारे सामने जो भी समस्याएं ,चुनतिया या अवसर होते हैं उन्हें हम दो क्षेत्रों में बाँट सकते हैं:

1)Circle of Concern ( चिंता का क्षेत्र )

2)Circle of Influence. (प्रभाव का क्षेत्र )

Proactive  लोग अपना प्रयत्न Circle of Influence पर केन्द्रित करते हैं.वो ऐसी चीजों पर काम करते हैं जिनके बारे में वो कुछ कर सकते हैं: स्वास्थ्य , बच्चे , कार्य क्षेत्र कि समस्याएं. Reactive  लोग अपना प्रयत्न Circle of Concern पर केन्द्रित करते हैं: देश पर ऋण , आतंकवाद, मौसम. इसबात कि जानकारी होना कि हम अपनी energy किन चीजों में खर्च करते हैं, Proactive  बनने की दिशा में एक बड़ा कदम है

Habit 2: Begin with the End in Mind  अंत को ध्यान में रख कर शुरुआत करें.

तो , आप बड़े होकर क्या बनना चाहते हैं? शायद यह सवाल थोड़ा अटपटा लगे,लेकिन आप इसके बारे में एक क्षण के लिए सोचिये. क्या आप अभी वो हैं जो आप बनना चाहते थे, जिसका सपना आपने देखा था, क्या आप वो कर रहे हैं जो आप हमेशा से करना चाहते थे. इमानदारी से सोचिये. कई बार ऐसा होता है कि लोग खुद को ऐसी जीत हांसिल करते हुए देखते हैं जो दरअसल खोखली होती हैं–ऐसी सफलता, जिसके बदले में उससे कहीं बड़ी चीजों को  गवाना पड़ा. यदि आपकी सीढ़ी सही दीवार पर नहीं लगी है तो आप जो भी कदम उठाते हैं वो आपको गलत जगह पर लेकर जाता है.

Habit 2  आपके imagination या  कल्पना  पर आधारित है– imagination , यानि आपकी वो क्षमता जो आपको अपने दिमाग में उन चीजों को दिखा सके जो आप अभी अपनी आँखों से नहीं देख सकते. यह इस सिधांत पर आधारित है कि हर एक चीज का निर्माण दो बार होता है. पहला mental creation, और दूसरा physical creation. जिस  तरह blue-print तैयार होने केबाद मकान बनता है , उसी प्रकार mental  creation  होने के बाद ही physical creation होती है.अगर आप खुद  visualize  नहीं करते हैं कि आप क्या हैं और क्या बनना चाहते हैं तो आप, आपकी life कैसी होगी इस बात का फैसला औरों पर और परिस्थितियों पर छोड़ देते हैं. Habit 2  इस बारे में है कि आप किस तरह से अपनी विशेषता को पहचानते हैं,और फिर अपनी personal, moral और  ethical  guidelines के अन्दर खुद को खुश रख सकते और पूर्ण कर सकते हैं.अंत को ध्यान में रख कर आरम्भ करने का अर्थ है, हर दिन ,काम या project  की शुरआत एक clear vision  के साथ करना कि हमारी क्या दिशा और क्या मंजिल होनी चाहिए, और फिर proactively  उस काम को पूर्ण करने में लग जाना.
Habit 2  को practice मेंलाने का सबसे अच्छा तरीका है कि अपना खुद का एक Personal Mission Statement बनाना. इसका फोकस इस बात पर होगा कि आप क्या बनना चाहते हैं और क्या करना चाहते हैं.ये success के लिए की गयी आपकी planning है.ये इस बात की पुष्टिकरता है कि आप कौन हैं,आपके goals को focus  में रखता है, और आपके ideas  को इस दुनिया में लाता है. आपका Mission Statement आपको अपनी ज़िन्दगी का leader बनाता है. आप अपना भाग्य खुद बनाते हैं, और जो सपने आपने देखे हैं उन्हें साकार करते हैं.

Habit 3 : Put First Things First प्राथमिक चीजों को वरीयता दें

एक balanced life  जीने के लिए, आपको इस बात को समझना होगा कि आप इस ज़िन्दगीमें हर एक चीज नहीं कर सकते. खुद को अपनी क्षमता से अधिक कामो में व्यस्त करने की ज़रुरत नहीं है. जब ज़रूरी हो तो “ना” कहने में मत हिचकिये, और फिर अपनी important priorities पर focus  कीजिये.
Habit 1  कहतीहै कि , ” आप in charge हैं .आप creator हैं”. Proactive होना आपकी अपनी choice है. Habit 2 पहले दिमाग में चीजों को visualize  करने के बारे में है. अंत को ध्यान में रख कर शुरआत करना vision से सम्बंधित है. Habit 3  दूसरी creation , यानि  physical creation  के बारे में है. इस habit में Habit 1 और Habit 2  का समागम होता है. और यह हर समय हर क्षण होता है. यह Time Management  से related कई प्रश्नों को  deal  करता है.

लेकिन यह सिर्फ इतना ही नहीं है. Habit 3  life management  के बारे में भी है—आपका purpose, values, roles ,और priorities. “प्राथमिक चीजें” क्या हैं?  प्राथमिक चीजें वह हैं , जिसको आप व्यक्तिगत रूप से सबसे मूल्यवान मानते हों. यदि आप प्राथमिक कार्यों को तरजीह देने का मतलब है कि , आप अपना समय , अपनी उर्जा Habit 2  में अपने द्वारा set की गयीं priorities पर लगा रहे हैं.

Habit 4: Think Win-Win  हमेशा जीत के बारे में सोचें
Think Win-Win अच्छा होने के बारे में नहीं है, ना ही यह कोईshort-cut है. यहcharacter पर आधारित एक कोड है जो आपको बाकी लोगों सेinteract और सहयोग करने के लिए है.
हममे से ज्यादातर लोग अपना मुल्यांकन दूसरों सेcomparison और  competition  के आधार पर करते हैं. हम अपनी सफलता दूसरों की असफलता में देखते हैं—यानि अगर मैं जीता, तो तुम हारे, तुम जीते तो मैं हारा. इस तरह life एकzero-sum game बन जाती है. मानो एक ही रोटी हो, और अगर दूसरा बड़ा हिस्सा ले लेता है तो मुझे कम मिलेगा, और मेरी कोशिश होगी कि दूसरा अधिक ना पाए. हम सभी येgame  खेलते हैं, लेकिन आप ही सोचिये कि इसमें कितना मज़ा है?
Win -Win ज़िन्दगी कोco-operation की तरह देखती है, competition कीतरह नहीं.Win-Win दिल और दिमाग की ऐसी स्थिति है जो हमेंलगातार सभी काहित सोचने के लिए प्रेरित करती है.Win-Win का अर्थ है ऐसे समझौते और समाधान जो सभी के लिए लाभप्रद और संतोषजनक हैं. इसमें सभी   खाने को मिलती है, और वो काफी अच्छाtaste  करती है.
एक व्यक्ति या संगठन जो Win-Win attitude  के साथ समस्याओं को हल करने की कोशिश करता है उसके अन्दर तीन मुख्य बातें होती हैं:
Integrity / वफादारी :अपने values, commitments औरfeelings के साथ समझौता ना करना.
Maturity / परिपक्वता :  अपने ideas और feelings  को साहस के साथ दूसरों के सामने रखना और दूसरों के विचारों और भावनाओं की भी कद्र करना.
Abundance Mentality / प्रचुरता की मानसिकता :इस बात में यकीन रखना की सभी के लिए बहुत कुछ है.
बहुत लोग either/or  केterms  में सोचते हैं: या तो आप अच्छे हैं या आप सख्त हैं. Win-Win में दोनों की आवश्यकता होती है. यह साहस और सूझबूझ के बीच balance  करने जैसा है.Win-Win को अपनाने के लिए आपको सिर्फ सहानभूतिपूर्ण ही नहीं बल्कि आत्मविश्वाश से लबरेज़ भी होना होगा.आपको सिर्फ विचारशील और संवेदनशील ही नहीं बल्कि बहादुर भी होना होगा.ऐसा करनाकि –courage और  consideration में balance  स्थापित हो, यही real maturity  है, और Win-Win  के लिए बेहद ज़रूरी है.

ये भी पढ़े - Motivational Post : कैसे बढ़ाये अपने आत्मविश्वास को ( How to Improve self confidence in Hindi )

Habit 5: Seek First to Understand, Then to Be Understood / पहले दूसरों को समझो फिर अपनी बात समझाओ.
Communication  लाइफ की सबसे ज़रूरी skill  है. आप अपने कई साल पढना-लिखना और बोलना सीखने में लगा देते हैं. लेकिन सुनने का क्या है? आपको ऐसी कौनसी training  मिली है, जो आपको दूसरों को सुनना सीखाती है,ताकि आप सामने वाले को सच-मुच अच्छे से समझ सकें? शायद कोई नहीं? क्यों?
अगर आप ज्यादातर लोगों की तरह हैं तो शायद आप भी पहले खुद आपनी बात समझाना चाहते होंगे. और ऐसा करने में आप दुसरे व्यक्तिको पूरी तरह ignore कर देते होंगे , ऐसा दिखाते होंगे कि आप सुन रहे हैं,पर दरअसल आप बस शब्दों को सुनते हैं परउनके असली मतलब को पूरी तरह से miss  कर जाते हैं.

सोचिये ऐसा क्यों होता है? क्योंकि ज्यादातर लोग इस intention  के साथ सुनते हैं कि उन्हें reply  करना है, समझना नहीं है.आप अन्दर ही अन्दर खुद को सुनते हैं और तैयारी  करते हैं कि आपको आगे क्या कहना है,क्या सवाल पूछने हैं, etc. आप जो कुछ भी सुनते हैं वो आपके life-experiences  से छनकर आप तक पहुचता है.
आप जो सुनते हैं उसे अपनी आत्मकथा से तुलना कर देखते हैं कि ये सही है या गलत. और इस वजह से आप दुसरे की बात ख़तम होने से पहले ही अपने मन में एक धारणा बना लेते हैं कि अगला क्या कहना चाहता है.  क्या ये वाक्य कुछ सुने-सुने से लगते है?
“अरे, मुझे पता है कि तुम कैसा feel  कर रहे हो.मुझे भी ऐसा ही लगा था.” “मेरे साथ भी भी ऐसा ही हुआ था.” ” मैं तुम्हे बताता हूँ कि ऐसे वक़्तमें मैंने क्या किया था.”
चूँकि आप अपने जीवन के अनुभवों के हिसाब से ही दूसरों को सुनते हैं. आप इन चारों में से किसी एक तरीके से ज़वाब देते हैं:
Evaluating/ मूल्यांकन:पहले आप judge करते हैं उसके बाद सहमत या असहमत होते हैं.
Probing / जाँच :आप अपने हिसाब से सवाल-जवाब करते हैं.
Advising/ सलाह :आप सलाह देते हैं और उपाय सुझाते हैं.
Interpreting/ व्याख्या :आप दूसरों के मकसद और व्यवहार को अपने experience के हिसाब से analyze करते हैं.
शायदआप सोच रहे हों कि, अपनेexperience के हिसाब से किसी सेrelate करने में बुराई क्याहै?कुछsituations में ऐसा करना उचित हो सकत है, जैसे कि जब कोई आपसे आपके अनुभवों के आधार पर कुछ बतानेके लिए कहे, जब आप दोनों के बीच एकtrust कीrelationship हो. पर हमेशा ऐसा करना उचित नहीं है.

Habit 6: Synergize / ताल-मेल बैठाना

सरल शब्दों में समझें तो , “दो दिमाग एक से बेहतर हैं ” Synergize करने का अर्थ है रचनात्मक सहयोग देना. यह team-work है. यह खुले दिमाग से पुरानी समस्याओं के नए निदान ढूँढना है.

पर ये युहीं बस अपने आप ही नहीं हो जाता. यह एक process है , और उसी process से, लोग अपनेexperience और expertise को उपयोग में ला पाते हैं .अकेले की अपेक्षा वो एक साथ कहीं अच्छाresult दे पाते हैं. Synergy से हम एक साथ ऐसा बहुत कुछ खोज पाते हैं जो हमारे अकेले खोजने पर शायद ही कभी मिलता. ये वो idea है जिसमे the whole is greater than the sum of the parts. One plus one equals three, or six, or sixty–या उससे भी ज्यादा.

जब लोग आपस में इमानदारी से interact करने लगते हैं, और एक दुसरे से प्रभावित होने के लिए खुले होते हैं , तब उन्हें नयी जानकारीयाँ मिलना प्रारम्भ हो जाता है. आपस में मतभेद नए तरीकों के आविष्कार की क्षमता कई गुना बढ़ा देते हैं.

मतभेदों को महत्त्व देना synergy का मूल है. क्या आप सच-मुच लोगों के बीच जो mental, emotional, और psychological differences होते हैं, उन्हें महत्त्व देते हैं? या फिर आप ये चाहते हैं कि सभी लोग आपकी बात मान जायें ताकि आप आसानी से आगे बढ़ सकें? कई लोग एकरूपता को एकता समझ लेते हैं. आपसी मतभेदों को weakness नहीं strength के रूप में देखना चाहिए. वो हमारे जीवन में उत्साह भरते हैं.

Habit 7: Sharpen the Saw कुल्हाड़ी को तेज करें

Sharpen the Saw का मतलब है अपने सबसे बड़ी सम्पत्ति यानि खुद को सुरक्षित रखना. इसका अर्थ है अपने लिए एक प्रोग्राम डिजाईन करना जो आपके जीवन के चार क्षेत्रों physical, social/emotional, mental, and spiritual में आपका नवीनीकरण करे. नीचे ऐसी कुछ activities केexample दिए गए हैं:

 Physical / शारीरिक :अच्छा खाना, व्यायाम करना, आराम करना
 Social/Emotional /:सामजिक/भावनात्मक :औरों के ससाथ सामाजिक और अर्थपूर्ण सम्बन्ध बनाना.
 Mental / मानसिक :पढना-लिखना, सीखना , सीखना.
 Spiritual / आध्यात्मिक :प्रकृति के साथ समय बीताना , ध्यान करना, सेवा करना.

आप जैसे -जैसे हर एक क्षेत्र में खुद को सुधारेंगे, आप अपने जीवन में प्रगति और बदलाव लायेंगे.Sharpen the Saw आपको fresh रखता है ताकि आप बाकी की six habits अच्छे से practice कर सकें. ऐसा करने से आप challenges face करने की अपनी क्षमता को बढ़ा लेते हैं. बिना ऐसा किये आपका शरीर कमजोर पड़ जाता है , मस्तिष्क बुद्धिरहित हो जाता है, भावनाए ठंडी पड़ जाती हैं,स्वाभाव असंवेदनशील हो जाता है,और इंसान स्वार्थी हो जाता है. और यह एक अच्छी तस्वीर नहीं है, क्यों?

आप अच्छा feel करें , ऐसा अपने आप नहीं होता. एक balanced life जीने का अर्थ है खुद को renew करने के लिए ज़रूरी वक़्त निकालना.ये सब आपके ऊपरहै .आप खुद को आराम करके renew कर सकते हैं. या हर काम अत्यधिक करके खुद को जला सकते हैं . आप खुद को mentally और spiritually प्यार कर सकते हैं , या फिर अपने well-being से बेखबर यूँ ही अपनी ज़िन्दगी बिता सकते हैं.आप अपने अन्दर जीवंत उर्जा का अनुभव कर सकते हैं या फिर टाल-मटोल कर अच्छे स्वास्थ्य और व्यायाम के फायदों को खो सकते हैं.

आप खुद को पुनर्जीवित कर सकते हैं और एक नए दिन का स्वागत शांति और सद्भावके साथ कर सकते हैं.या फिर आप उदासी के साथ उठकर दिन को गुजरते देख सकतेहैं. बस इतना याद रखिये कि हर दिन आपको खुद को renew करने का एक नया अवसरदेता है, अवसर देता है खुद को recharge करने का. बस ज़रुरत है Desire (इच्छा),Knowledge( ज्ञान)और Skills(कौशल) की.

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Note: 1) It was a summary of“The Seven Habits of Highly Effective People”in Hindi. Please read the complete book to benefit more.

Note:हिंदी में अनुवाद करने में सावधानी बरतने के बावजूद कुछ त्रुटियाँ हो सकती हैं. कृपया क्षमा करें.

निवेदन : कृपया अपने comments के through बताएं की Stephen R Covey की लिखी book “The Seven Habits of Highly Effective People” की summary Hindi में आपको कैसी लगी.

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Post Courtesy- Achhikhabar